Operation Cyber ​​​​Shield: Mobile phones hacked using APK files...! Over 500 groups on Telegram and WhatsApp... 6 interstate cyber criminals arrestedOperation Cyber ​​​​Shield

रायपुर, 18 नवंबर। Operation Cyber ​​Shield : पुलिस महानिरीक्षक रायपुर रेंज अमरेश मिश्रा के निर्देशन में चलाए जा रहे ‘ऑपरेशन साइबर शील्ड’ के तहत अंतरराज्यीय साइबर अपराधियों के एक बड़े नेटवर्क का भंडाफोड़ किया गया है। देशभर में फैले इस गिरोह के सदस्य फर्जी .APK फाइल भेजकर मोबाइल हैक करते थे और करोड़ों की धोखाधड़ी को अंजाम देते थे। साइबर थाना रायपुर की टीम ने दिल्ली, मध्यप्रदेश, महाराष्ट्र, पश्चिम बंगाल और उत्तरप्रदेश में सर्च ऑपरेशन चलाकर 6 आरोपियों को गिरफ्तार किया है।

मोबाइल हैकिंग का तरीका उजागर

गिरोह के मुख्य सदस्य धर्मजीत सिंह (18 वर्ष, लोनावाला, पुणे) ने मेलेशियस कोड डालकर फर्जी APK तैयार किए थे।
ये नकली ऐप्स, RTOechallan.apk, PMkisanyojna.apk, Bank.apk, Ayushman.apk, Fastag.apk जैसे नाम से बनाए जाते थे, ताकि लोग इन्हें आधिकारिक ऐप समझकर इंस्टॉल कर लें।

इन्हें टेलीग्राम व व्हाट्सएप के 500 से अधिक ग्रुपों के माध्यम से बेचा जाता था। हैकर्स इन फाइलों को आम लोगों के व्हाट्सएप में भेजते थे। फाइल क्लिक करते ही मोबाइल पूरी तरह हैक हो जाता था, बैंकिंग जानकारी चुराई जाती थी और पीड़ित के सभी कॉन्टैक्ट पर वही फर्जी फाइल भेज दी जाती थी।

इस तरह होती थी ठगी

मोबाइल हैक होने के बाद ठग पीड़ितों के बैंक खातों से राशि म्यूल अकाउंट्स में भेजते थे। सौरव कुमार और आलोक कुमार म्यूल बैंक खातों की आपूर्ति करते थे। चांद मोहम्मद के माध्यम से राशि इमरान अंसारी (आसनसोल) तक पहुंचाई जाती थी। फिर एटीएम से रकम निकालकर गिरोह बांट लेता था।

इसी तरीके से प्रार्थी अर्चना भदौरिया से 5.12 लाख और प्रार्थी महेश कुमार साहू से 12 लाख की ठगी की गई थी।
इस संबंध में थाना टिकरापारा (अ.क्र. 734/25) और थाना राखी (अ.क्र. 132/25) में भारतीय न्याय संहिता की धारा 318(4), 3(5) के तहत मामला दर्ज है।

तकनीकी विश्लेषण व डिजिटल ट्रैकिंग के आधार पर पुलिस ने अलग-अलग राज्यों में छापे डालकर 6 साइबर अपराधियों को गिरफ्तार किया-

  1. सौरव कुमार (33 वर्ष, बिहार – वर्तमान: नोएडा)
    भूमिका: फर्जी कंपनी बनाकर बैंक अकाउंट खुलवाना
  2. आलोक कुमार (25 वर्ष, बिहार – वर्तमान: दिल्ली)
    भूमिका: म्यूल अकाउंट उपलब्ध कराना
  3. चांद बाबू (32 वर्ष, मध्यप्रदेश)
    भूमिका: ठगी की राशि आहरण
  4. धर्मजीत सिंह (18 वर्ष, महाराष्ट्र)
    भूमिका: फर्जी APK बनाने वाला हैकर
  5. मोहम्मद इरफान अंसारी (23 वर्ष, पश्चिम बंगाल)
    भूमिका: फर्जी APK व्हाट्सऐप से भेजना
  6. मारूफ सिद्दीकी अंसारी (20 वर्ष, महाराष्ट्र)
    भूमिका: म्यूल अकाउंट की आपूर्ति

आरोपियों के बैंक खातों में जमा 2 लाख रुपये होल्ड कराए गए हैं। ठगी का कुछ पैसा मोबाइल दुकान के सामान में निवेश किए जाने की जानकारी मिली है।

बड़ी संख्या में फर्जी APK फाइलें बरामद

गिरफ्तार आरोपियों के मोबाइल में निम्न फर्जी ऐप मिले, RTOchallan.apk, Customer_support.apk, ICICIBank.apk, PMkishan.apk, SBIcreditcard.apk, Fastag.apk, PunjabNationalBank.apk, SBIyono.apk आदि।

जनता के लिए पुलिस की अहम अपील

किसी भी अज्ञात लिंक पर क्लिक न करें, न ही फर्जी APK डाउनलोड करें। ऐप सिर्फ Google Play Store से ही इंस्टॉल करें। ऐप इंस्टॉल करते समय permissions अवश्य जांचें। मोबाइल में एंटीवायरस का उपयोग करें। मोबाइल हैक होने पर तुरंत SIM निकालें और फोन को फ्लाइट मोड में डालें। किसी भी साइबर धोखाधड़ी की शिकायत तुरंत 1930 या cybercrime.gov.in पर दर्ज करें।

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