वाशिंगटन, 30 अक्टूबर। अमेरिका ने लाखों बच्चों के कोविड-19 वैक्सीनेशन में एक अहम कदम ले लिया है। अब यहां के 5 से 11 साल के बच्चों को कोरोना वैक्सीन फाइजर की खुराक दी जाएगी। खाद्य और औषधि प्रशासन (Food and Drug Administration, FDA) ने शुक्रवार को फाइजर इंक और बायोएनटेक एसइ कोरोना वायरस वैक्सीन को पांच साल से अधिक उम्र वाले बच्चों के लिए मंजूरी दे दी है। इसके साथ ही अमेरिका में बच्चों को लगने वाली पहली वैक्सीन फाइजर ही बन गई है। हालांकि इस आयुवर्ग को लगने वाली इस वैक्सीन की खुराक का स्टाक फिलहाल उपलब्ध नहीं है। वहीं अमेरिका के सेंटर्स फार डिजीज कंट्रोल एंड प्रिवेंशन को अभी भी इस बारे में निर्देश की जरूरत है कि किस तरह से वैक्सीन की खुराक लगाई जानी चाहिए। फाइजर ने कहा कि शनिवार को यह फार्मेसी व बाल चिकित्सकों (pediatricians) को फाइजर वैक्सीन की खेप बच्चों के लिए सप्लाई करेगा। बता दें कि संघीय स्वास्थ्य नियामकों ने पिछले सप्ताह कहा था कि फाइजर वैक्सीन की खासतौर पर बच्चों के लिए बनाई गई खुराक प्राथमिक स्कूल के बच्चों में लक्षण वाले संक्रमण को रोकने में अत्यधिक प्रभावी पाई गई है और इससे कोई अप्रत्याशित सुरक्षा समस्या भी नहीं होती है। अमेरिका में बच्चों का वैक्सीनेशन शुरू करने पर विचार किए जाने के बीच नियामक ने यह कहा। FDA ने फाइजर टीके संबंधी आंकड़ों का विश्लेषण से जुड़ी जानकारी ऐसे समय दी जब अगले हफ्ते एक जन सभा में यह चर्चा होनी है कि देश में पांच से 11 वर्ष की आयु के करीब 2.8 करोड़ बच्चों के लिए टीके की खुराक तैयार हैं या नहीं।FDA के वैज्ञानिकों ने अपने विश्लेषण में कहा था कि कोरोना वायरस संक्रमण के कारण अस्पताल में भर्ती होने या उससे मौत के जोखिम को रोकने में वैक्सीन लाभकारी है और यह फायदा किसी भी परिदृश्य में बच्चों में टीके के किसी गंभीर दुष्प्रभाव से कहीं अधिक है। एजेंसी के समीक्षकों ने हालांकि फाइजर के टीके को अधिकृत करने की अनुशंसा नहीं की। FDA की समीक्षा में फाइजर के उन परिणामों की पुष्टि की गई जिनमें कहा गया था कि वैक्सीन की दो खुराक बच्चों में लक्षण वाले संक्रमण को रोकने में 91 फीसद तक कारगर है।