छत्तीसगढ

कार्ड विहीन प्रवासी श्रमिकों को मिल रहा निःशुल्क राशन, कोरोना संकट में भी आसान हुई सोनाली की जिंदगी

रायपुर, 7 जून। मुख्यमंत्री शभूपेश बघेल के निर्देशन में प्रदेश के अन्य प्रान्तो से छत्तीसगढ़ वापस लौटे श्रमिकों और व्यक्तियों को, जिनके नाम पर कोई राशनकार्ड नहीं है या किसी भी राशनकार्ड में उनका नाम दर्ज नहीं है, उनको माह मई और जून के लिये 5 किलो चावल प्रति व्यक्ति प्रति माह की दर से और 1 किलो चना प्रति परिवार प्रति माह की दर से निशुल्क प्रदान किया जाना है। इसके लिये सभी जनपद कार्यालयों मे और नगर पंचायत कार्यालयों मे ऐसे प्रवासी श्रमिकों की पहचान कर ऑनलाइन एन्ट्री का कार्य किया जा रहा है। योजना का लाभ केवल ऐसे प्रवासी श्रमिकों को दिया जाना है, जिनका नाम किसी भी राशनकार्ड मे दर्ज नही है।
इसी कड़ी मे बलौदाबाजार शहर के नगर भवन के समीप स्थित उचित मूल्य की दुकान से पुरानी बस्ती निवासी सोनाली नवरंगे के 3 सदस्यीय परिवार को इस योजना के तहत निशुल्क खाद्यान्न का लाभ दिया गया है। उन्होंने एक महीने का 15 किलोग्राम चावल उठाया है। खाद्यान्न प्राप्त करने के बाद परिवार के समाने अब खाने की समस्या नहीं होगी। उनकी जिंदगी कोरोना काल में भी आसान हो गई है। प्रवास से वापस लौटने के बाद ये परिवार शहर के वार्ड 07 मे निवासरत है। उसे 15 किलो चावल और मिलेगा। सोनाली नवरंगे की तरह ही कोई भी प्रवासी श्रमिक जो इस योजना के अन्तर्गत पात्र हैं, इस योजना का लाभ प्राप्त कर सकेगा। इसके लिये वह प्रवासी श्रमिक जिसका नाम किसी भी राशनकार्ड मे दर्ज नही है, अपने आधार नम्बर और अन्य पहचान पत्र दस्तावेजों के साथ ग्रामीण क्षेत्र के लिये अपने ग्राम सचिव के माध्यम से सम्बंधित जनपद कार्यालय मे और नगरीय क्षेत्र मे नगर पालिका अथवा नगर पंचायत कार्यालय मे जानकारी प्रस्तुत कर सकेगा। जहा उसकी डाटा एन्ट्री की जायेगी। इसके बाद उसे उसके क्षेत्र की सम्बंधित शासकीय उचित मूल्य की दुकान से माह मई और जून के लिये निर्धारित खाद्यान्न प्राप्त हो सकेगा। वर्तमान मे जिले की सभी 6 जनपदों और 9 नगरीय निकायों मे ऐसे 485 परिवारो की पहचान कर 1072 लोगो की एन्ट्री पूर्ण कर ली गई है।

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