छत्तीसगढ

23 लाख 48 हजार 660 हेक्टेयर में हो चुकी खरीफ फसलों की बुआई

रायपुर, 13 जुलाई। राज्य में खरीफ फसलों की बुआई का सिलसिला तेजी से जारी है। कृषि विभाग से प्राप्त रिपोर्ट के अनुसार 12 जुलाई तक धान, अन्य अनाज के फसलों सहित तिलहन और साग-सब्जी की बुआई 23 लाख 48 हजार 660 हेक्टेयर में हो चुकी है, जो कि चालू खरीफ सीजन के लिए निर्धारित बोआई के लक्ष्य का 49 प्रतिशत है। अब तक राज्य में 19 लाख 68 हजार 530 हेक्टेयर में धान, 3 लाख 36 हजार 70 हेक्टेयर में अन्य अनाज की फसलों सहित एक लाख 2 हजार 30 हेक्टेयर में दलहन, 77 हजार 590 हेक्टेयर में तिलहनी तथा 63 हजार 740 हेक्टेयर रकबे में साग-सब्जी एवं अन्य फसलों की बुआई पूरी कर ली गई है।
राज्य में खरीफ सीजन 2021 में 48 लाख 20 हजार हेक्टेयर रकबे में खरीफ फसलों की बुआई का लक्ष्य है। जिसमें 36 लाख 95 हजार 420 हेक्टेयर में धान, 3 लाख 60 हजार हेक्टेयर में अन्य अनाज की फसलें और 3 लाख 76 हजार 670 हेक्टेयर में दलहन, 2 लाख 55 हजार 490 हेक्टेयर में तिलहन तथा एक लाख 32 हजार 340 हेक्टेयर में साग-सब्जी एवं अन्य फसलों की खेती का लक्ष्य निर्धारित है। निर्धारित लक्ष्य के विरूद्ध अब तक 23 लाख 48 हजार 660 हेक्टेयर रकबे में खरीफ फसलों की बुवाई हो चुकी है।
खरीफ सीजन 2021 के लिए खाद एवं बीज की किसानों को आपूर्ति की व्यवस्था सहकारी समितियों के माध्यम से की गई है। खरीफ की विभिन्न फसलों के बीज की कुल मांग 11 लाख 7 हजार 989 क्विंटल के विरूद्ध अब तक 8 लाख 67 हजार 230 क्विंटल बीज का भण्डारण किया जा चुका है, जो निर्धारित लक्ष्य का 78 प्रतिशत है। किसानों द्वारा अब तक 7 लाख 36 हजार 922 क्विंटल बीज का उठाव कर लिया गया है। फसल विविधीकरण को ध्यान में रखते हुए इस बार एक लाख 55 हजार 489 क्विंटल धान के अतिरिक्त अन्य खरीफ फसलों के बीज की व्यवस्था की गई है। खरीफ में 11 लाख 75 हजार मेट्रिक टन रासायनिक उर्वरक के वितरण के लक्ष्य के विरूद्ध 10 लाख एक हजार 707 मेट्रिक टन खाद का भण्डारण तथा 6 लाख 8 हजार 789 मेट्रिक टन खाद का वितरण किया जा चुका है।
राज्य में जैविक खेती को बढ़ावा देने तथा रासायनिक उर्वरकों पर निर्भरता एवं कृषि लागत को कम करने के उद्देश्य से किसानों द्वारा जैविक खाद का भी उपयोग किया जा रहा है। गोधन न्याय योजना के तहत गौठानों में दो रूपए किलो में गोबर क्रय कर बड़ी मात्रा में वर्मी कम्पोस्ट एवं सुपर कम्पोस्ट खाद का उत्पादन किया जा रहा है। अब तक राज्य में 5 लाख 97 हजार 641 क्विंटल से अधिक वर्मी कम्पोस्ट तथा 2 लाख 28 हजार 108 क्विंटल से अधिक सुपर कम्पोस्ट का उत्पादन गौठानों में किया गया है, जिसमें से 4 लाख 13 हजार 677 क्विंटल से अधिक वर्मी कम्पोस्ट तथा 59 हजार 958 क्विंटल से अधिक सुपर कम्पोस्ट सहकारी समितियों के माध्यम से किसानों की मांग के अनुरूप आदान सहायता के रूप में प्रदाय किया गया है। इस साल खरीफ सीजन के लिए 5300 करोड़ रूपए कृषि ऋण के रूप में किसानों को उपलब्ध कराए जाने का लक्ष्य है। अब तक 3075 करोड़ रूपए से अधिक का ऋण किसानों को दिया जा चुका है। कृषि विभाग से प्राप्त जानकारी के अनुसार राज्य में फसल विविधीकरण के तहत धान के बदले 3 लाख 44 हजार 398 हेक्टेयर रकबे में अन्य फसलों की खेती का लक्ष्य है, जिसके विरूद्ध अब तक 4 लाख 12 हजार 509 किसानों के 2 लाख 64 हजार 777 हेक्टेयर रकबे का चयन किया जा चुका है, जो निर्धारित लक्ष्य का लगभग 73 प्रतिशत है।

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