Hospital: Negligence leads to tragic death! A patient with high blood sugar was placed in the wrong ward, unable to eat due to his hands and feet being tied, and passed away. Video surfaced.Hospital

अयोध्या, 11 नवंबर। Hospital : अयोध्या में जिला अस्पताल में भर्ती शालिग राम (51) की इलाज के दौरान मौत हो गई। वह हाई शुगर के मरीज थे, लेकिन अस्पताल ने उन्हें मनो रोगी मानकर हाथ-पैर बांधकर ऐसे वार्ड में रखा, जहां कोई अन्य मरीज नहीं था। उनके सामने खाना रखा गया, लेकिन हाथ-पैर बंधे होने के कारण वे नहीं खा सके। परिवार ने अस्पताल की गंभीर लापरवाही को जिम्मेदार ठहराया। मामले में प्रशासन की जांच की संभावना जताई गई है।

अयोध्या के जिला अस्पताल में एक मरीज को अमानवीय ढंग से बांधकर रखने का वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हुआ है। इलाज के बजाय बेड़ियों में जकड़े मरीज को देखकर हर कोई स्तब्ध है। यह घटना स्वास्थ्य व्यवस्था पर एक बड़ा सवाल खड़ा करती है। वीडियो वायरल होने के बाद मरीज को मेडिकल कॉलेज रेफर किया गया, जहां से परिजन उसे लखनऊ ले जा रहे थे, लेकिन रास्ते में ही उसने दम तोड़ दिया। 

इंसानियत शर्मसार

अयोध्या जिला अस्पताल में वायरल हुए एक वीडियो ने पूरे स्वास्थ्य तंत्र की पोल खोल दी है। वीडियो में एक मरीज के हाथ-पांव बंधे हुए हैं और सामने रखे भोजन को वह बेबस नजरों से देख रहा है। यह दृश्य किसी जेल का नहीं, बल्कि अस्पताल के उस ‘निष्प्रयोज्य वार्ड’ का है जिसे पहले ही बंद घोषित कर दिया गया था। 

अस्पताल प्रशासन का दावा था कि मरीज की मानसिक स्थिति ठीक नहीं थी, वह ‘एल्कोहलिक साइको’ था। लेकिन इस अमानवीय व्यवहार ने व्यवस्था पर गहरे सवाल खड़े कर दिए हैं।

वीडियो वायरल होते ही प्रशासन हरकत में आया और आनन-फानन में मरीज़ को 8 नवंबर की सुबह मेडिकल कॉलेज, दर्शन नगर, रेफर कर दिया। इमरजेंसी इंचार्ज डॉ. विनोद कुमार आर्य ने बताया कि मरीज को बेहोशी की हालत में लाया गया था, वह पागल नहीं था, बल्कि क्रॉनिक एल्कोहलिक होने के साथ-साथ शुगर की बीमारी से भी पीड़ित था। मरीज के भतीजे राहुल ने भी पुष्टि की कि उनके चाचा पागल नहीं थे, बल्कि उन्हें शुगर थी। उन्होंने बताया कि डिस्चार्ज कराने के बाद जब वे लखनऊ ले जा रहे थे, तो रास्ते में ही उनकी मौत हो गई। 

जिम्मेदारी कौन लेगा?

सीएमएस राजेश कुमार सिंह, जिला अस्पताल अयोध्या के अनुसार, मरीज को किसी ने गेट पर छोड़ दिया था। वह 5 नवंबर को भर्ती हुआ था। हालांकि, मरीज के परिजनों और मेडिकल कॉलेज के डॉक्टर के बयानों से जिला अस्पताल के दावों में विरोधाभास नजर आता है।

विपक्ष ने भी इस मामले को लेकर सरकार और सिस्टम पर बड़ा सवाल (Hospital) खड़ा किया है। समाजवादी पार्टी और कांग्रेस के प्रदेश अध्यक्ष अजय राय ने सोशल मीडिया पर पोस्ट करके इस घटना पर दुख और गुस्सा जताया है।  

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