AICC : कांग्रेस में जिला अध्यक्ष की कुर्सी अब आसान नहीं…! दावेदारों से मांगी गई 3 पेज की जानकारी…हर दावेदार से पूछे 12 सवाल…तभी मिलेगी कुर्सी…यहां देखें वे दर्जन भर प्रश्न क्या हैं List

रायपुर, 09 अक्टूबर। AICC : छत्तीसगढ़ सहित देशभर में कांग्रेस पार्टी ने जिला अध्यक्षों की नियुक्ति प्रक्रिया को इस बार काफी सख्त और व्यवस्थित बना दिया है। अब किसी भी दावेदार को केवल मौखिक दावे नहीं, बल्कि लिखित रूप से विस्तृत जानकारी देनी होगी। अखिल भारतीय कांग्रेस कमेटी (AICC) ने इसके लिए 12 बिंदुओं में आधारित 3 पेज का आवेदन-पत्र तैयार किया है, जिसे दावेदारों को पर्यवेक्षकों को सौंपना अनिवार्य किया गया है।
सूत्रों के अनुसार, इस प्रक्रिया से उन दावेदारों की छंटनी आसान होगी जो केवल राजनीतिक जुड़ाव के भरोसे नाम आगे बढ़ाते रहे हैं। पार्टी अब पारदर्शिता, राजनीतिक अनुभव, सामाजिक सक्रियता और संवेदनशीलता के आधार पर जिला अध्यक्षों की नियुक्ति करेगी।
क्या मांगी गई है जानकारी?
आवेदन पत्र में सबसे पहले आपकी व्यक्तिगत जानकारी और सभी सोशल मीडिया हैंडल (व्हाट्सएप, फेसबुक, एक्स आदि) की जानकारी मांगी जाती है। इसके बाद, आप कांग्रेस पार्टी में कब से सक्रिय हैं? आपने अपना पहला पद कब संभाला था और वर्तमान में आपका क्या पद है? अब तक के सभी पदों का वर्षवार विवरण। क्या आपको किसी सरकारी पद के लिए नामांकित किया गया है? यदि आपने चुनाव लड़ा है, तो किस वर्ष, किस पद के लिए, परिणाम क्या रहे और आपका वोट प्रतिशत कितना रहा?
सामाजिक योगदान और प्रशिक्षण का विवरण जरूरी
कांग्रेस ने इस बार सामाजिक सक्रियता को भी बड़ा मानक बनाया है। दावेदारों से पूछा गया है कि वे किन सामाजिक संगठनों से जुड़े हैं, गतिविधियों का विवरण क्या है और कांग्रेस पार्टी के किस प्रशिक्षण शिविर में कब शामिल हुए हैं।
दल-बदल, निष्कासन और आपराधिक मामलों की जानकारी अनिवार्य
जो दावेदार पूर्व में दूसरी पार्टी से कांग्रेस में आए हैं, या पहले निष्कासित हुए थे या स्वयं पार्टी छोड़ चुके थे, उन्हें इसकी स्पष्ट जानकारी आवेदन में देनी होगी। इसके साथ ही, यदि किसी दावेदार पर कोई आपराधिक मामला लंबित या निपटाया गया है, तो उसकी जानकारी भी देनी अनिवार्य होगी।
‘अध्यक्ष क्यों बनना चाहते हैं’ इसका देना होगा स्पष्ट जवाब
सबसे महत्वपूर्ण प्रश्नों में से एक है- आप जिला कांग्रेस कमेटी के अध्यक्ष क्यों बनना चाहते हैं? दावेदार को न केवल इसका कारण बताना होगा, बल्कि अपनी योग्यता, कार्य योजना (विजन) और यह भी कि पार्टी उन्हें क्यों चुने, इसका ठोस विवरण लिखित में देना होगा।
राजनीतिक समीकरण भी होंगे कारगर
हालांकि पार्टी ने आवेदन प्रक्रिया को ज्यादा गंभीर और पारदर्शी बना दिया है, लेकिन सूत्रों का कहना है कि राजनीतिक समीकरण, जातीय संतुलन और संगठनात्मक समीपता जैसे पहलुओं को भी नजरअंदाज नहीं किया जाएगा।
विवादों को टालने की कोशिश
पार्टी के वरिष्ठ नेताओं का मानना है कि इससे अंतरविरोध, आंतरिक गुटबाजी, और बाहरी दबाव को नियंत्रित करने में मदद मिलेगी और नियुक्ति का आधार अधिक तथ्यपरक होगा।