छत्तीसगढ

Mekahara की होगी निजी हॉस्पतालों से तुलना, सिंहदेव का क्या है निर्देश ?

सरकारी अस्पताल के गाइनो विभाग में हाइजीनिक पर ज्यादा फोकस

रायपुर, 9 सितंबर। प्रदेश के सबसे बड़े हॉस्पिटल मेकाहारा की तुलना अब राजधानी के चमचमाते निजी अस्पतालों से की जाएगी। दरअसल, गुरुवार को स्वास्थ्य मंत्री टीएस सिंहदेव मेकाहारा अस्पताल में तैयार नए गाइनो विभाग का जायजा लेने पहुंचे थे, तभी उन्होंने मीडिया के सामने ऐसी मंशा जाहिर की।

Mekahara will be compared with private hospitals, what is Singhdev's instructions?

इस दौरान उन्होंने ये भी कहा कि मेकाहारा में बनाए जा रहे नये गाइनो डिपार्टमेंट में मरीजों के साथ-साथ उनके परिजनों की रुकने की व्यवस्था है। इसके साथ ऑपरेशन थिएटर और नए लैब का भी निर्माण किया जा रहा है।

स्वास्थ्य मंत्री टीएस सिंहदेव ने कहा कि सरकारी अस्पतालों में मरीजों को बेहतर इलाज मुहैया कराया जाएगा, चाहे वह उप-स्वास्थ्य केंद्र हो या प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र। भूपेश सरकार यह सुनिश्चित करने की कोशिश कर रही है कि मरीजों को अपनी ओर से इलाज के नाम पर खर्च न करना पड़े।

कई बार ऐसी स्थिति आ जाती है कि नागरिकों को लगता है कि अगर हम किसी निजी अस्पताल में जाएंगे तो अच्छा इलाज होगा, साफ-सफाई होगी। दरअसल, निजी हॉस्पिटल्स में चमक दमक ज्यादा दिखता है। स्वास्थ्य मंत्री ने कहा, इस बार ऐसा ही चमक सरकारी हस्पतालों में दिखेगा।

योग्य डॉक्टरों की कमी नहीं

स्वास्थ्य मंत्री टीएस सिंहदेव ने कहा, हमारे पास योग्य डॉक्टरों की कमी कोई नहीं है। हॉस्पिटल की गुणवत्ता में भी कोई कमी नहीं है। जो प्राइवेट क्षेत्र के डॉक्टर है, वह भी उन्हीं कॉलेज से पास होकर जाते हैं, जहां से सरकारी हॉस्पिटल के डॉक्टर पास होते हैं। गुणवत्ता देने की क्षमता में हमारे सरकारी अस्पतालों के डॉक्टरों में कोई कमी नहीं है। स्वास्थ्य मंत्री ने कहा स्वास्थ्य क्षेत्र में सुधार लाकर लोगों का विश्वास अर्जित करने की जरूरत है। यह हमारा प्रयास है कि सरकारी हॉस्पिटल में अच्छा काम हो और वह दिखे भी अच्छा।

तीसरी लहर की संभावना बोले

तीसरी लहर के आने की संभावना पर टीएस सिंहदेव ने कहा, संभावना पूरी है, लेकिन यह दूसरी लहर जितनी खतरनाक होगी या नहीं, यह उस स्थिति पर निर्भर करता है। अपवाद उसी स्थिति में हो सकती है जब कोई अलग नया वेरिएंट या नया म्युटेंट आ गया, जिसमें वैक्सीनेशन प्रभाव नहीं डाल पाएगा। अगर ऐसी स्थिति आई तब फिर बड़ी चिंता है। वैज्ञानिकों, डॉक्टरों, प्रशासन ने इसे जरूर ध्यान में रखा है। उसके लिए भी हमें तैयार रहना होगा और इससे बचने का एक ही उपाय है कि हम सभी कोरोना गाइडलाइंस का पालन करें, दूरी बनाए रखें, हाथ धोएं, साफ-सफाई रखें। यह हमें नए वेरिएंट से बचा सकता है।

टीकाकरण में भी है बड़ा अंतर

टीकाकरण पर टीएस सिंहदेव ने कहा कि कोरोना का टीकाकरण चल रहा है। 1.5 करोड़ से अधिक टीकाकरण किए जा चुके हैं। हमारे पास अभी एक बड़ा अंतर है। पहले डोज और दूसरे डोज के बीच में 80 लाख का एक बड़ा अंतर है। हमें एक महीने में सिर्फ 35 लाख टीके ही मिल रहे हैं। पिछले 2 महीने में 20 लाख डोज मिले हैं। सितंबर के लिए 35 लाख टीके आने हैं, हालांकि यह खुराक भी काफी नहीं होगी।

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