छत्तीसगढ

टेस्टिंग का रिजल्ट नहीं आते तक अपने को कोरोना संक्रमित मरीज मानिए : डॉ राकेश गुप्ता

रायपुर, 7 मई। कोरोना की दूसरी लहर ने नागरिकों को व्यापक रूप से प्रभावित किया है । कोरोना के लक्षण महसूस होते ही ,लोगों के जेहन में अनेक प्रकार के प्रश्न उठते हैं । इन्हीं महत्वपूर्ण पांच प्रश्नों का उत्तर रायपुर के नाक ,कान, गला विशेषज्ञ डॉ राकेश गुप्ता दे रहे है।

प्र – कोरोना का लक्षण शुरू हुआ है और टेस्टिंग में देरी हो रही है, तो क्या करना चाहिए?

उ- जब तक टेस्टिंग का रिजल्ट नही आता, का तब तक आप अपने आप को कोरोना संक्रमित मरीज ही मानिए। होम आइसोलेशन के नियमों का पालन करें, संभव हो तो दवाई लेना शुरू करें। अपने चिकित्सक के संपर्क में रहे और वैसा ही व्यवहार करें जैसे कोरोना संक्रमित मरीज को निर्देशित किया जाता है।

प्र – टेस्टिंग के रिजल्ट आने मैं देरी हो रही हो तो क्या करना चाहिए?

उ- टेस्टिंग का रिजल्ट आने में देरी हो सकती है। आप होम आइसोलेशन में चले जाइए, परिवार के सदस्यों से अलग हो जाइए। संभव हो तो अपने चिकित्सक के मार्गदर्शन में दवाई खाना शुरू करिए और अपना तापमान, ऑक्सीजन सैचुरेशन और दूसरे प्रकार के लक्षण जो होते हैं, उनको मॉनिटर करिए, अपने चिकित्सक को बताइए कि आपको क्या दिक्कत हो रही है। दवाओं का सेवन तुरंत शुरू कर दें और टेस्टिंग का रिजल्ट आते तक लगातार वैसा ही व्यवहार करें जब जैसे कोरोना संक्रमित मरीज को निर्देशित किया गया है।

प्र – अगर नेगेटिव रिजल्ट आया और तबियत बिगड़ रही है तो क्या करना चहिये?

उ – यदि आपका टेस्ट नेगेटिव आया और आपको कोरोना संक्रमण है, तबीयत बिगड़ रही है। चिकित्सक से परामर्श करिये, दवाई लीजिए, तापमान और ऑक्सीजन सैचुरेशन लेते रहिए। किसी भी प्रकार का अन्य टेस्ट बगैर चिकित्सक के परामर्श के नहीं कराएं। यह आपके लिए घातक भी हो सकता है।

घर के बाहर नहीं निकलना है, होम आइसोलेशन में रहना है, और तापमान और ऑक्सीजन सैचुरेशन यदि ठीक नहीं है, तो आपको चिकित्सक निगरानी में कोविड केयर सेंटर और अस्पताल में भर्ती होने का प्रयास करना है।

होम आइसोलेशन की टीम आपको कोविड केयर सेंटर और अस्पताल में खाली बेड की संख्या के हिसाब से आपको भर्ती करेंगे।

प्र – यदि परिवार में कोई एक व्यक्ति पॉजिटिव हो तो अन्य लोगों को क्या सावधानी रखनी चाहिए?

उ – कोरोना दूसरी लहर मैं सामान्य रूप में देखने मे आया है कि पूरा का पूरा परिवार संक्रमित हो रहा है। ऐसे में पूरे परिवार को टेस्टिंग कराना है।

परिवार के संक्रमित सदस्य से अलग हो जाना है। समूह में नहीं रहना है और आपस में वैसा ही व्यवहार करें जैसे एक दूसरे से कोरोना संक्रमित मरीज व्यवहार करता है।

टेस्टिंग रिजल्ट का इंतजार करिए और संभव हो तो तब तक प्रतिरोधक क्षमता बढ़ाने के लिए बी कांपलेक्स या दूसरे दवाये, जो डॉक्टर बताते है उनका सेवन शुरू कर देना चहिये।

प्र – ऑक्सीजन स्तर 70 से 85 है और सरकारी अस्पतालों में बेड नहीं है तो क्या करें?

उ- सबसे पहले आपके होम आइसोलेशन चिकित्सक को आप इनफॉर्म करें कि ऑक्सीजन का सिचुएशन कम हो रहा है। वह आपके लिए जब तक ऑक्सीजन बेड इंतजाम करें, तब तक आप सामाजिक संस्थाओं की मदद से संभव हो ऑक्सीजन कंसंट्रेटर का इंतजाम करें।

कोविड केयर सेन्टर में कुछ समय में ऑक्सीजन बेड की व्यवस्था हो जाती है। तब तक ऑक्सीजन बेड ना हो कोविड केअर सेंटर में आपको सरकारी संस्थाएं या होम आइसोलेशन की टीम भर्ती करेगी। सरकारी अस्पतालो में बेड की व्यवस्था यथासंभव जल्दी-जल्दी कराने का प्रयत्न किया जाता है।

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