राष्ट्रीय महिला आयोग ने कोरोना काल में उत्कृष्ट कार्य के लिए महिला एवं बाल विकास विभाग की सराहना की
रायपुर, 03 फरवरी। मुख्यमंत्री भूपेश बघेल के निर्देशन में कोविड महामारी में छत्तीसगढ़ में किये गए कार्यों की सराहना राष्ट्रीय स्तर पर हो रही है। राष्ट्रीय महिला आयोग ने कोरोना काल में उत्कृष्ट कार्य के लिए छत्तीसगढ़ महिला एवं बाल विकास विभाग के कार्यों की सराहना की है। राष्ट्रीय महिला आयोग ने नई दिल्ली में छत्तीसगढ़ राज्य महिला आयोग की अध्यक्ष डॉ. किरणमयी नायक को छत्तीसगढ़ में विभाग के मैदानी अमले के सराहनीय टीम वर्क के लिए प्रमाण पत्र प्रदान किया है। रायपुर में आज डॉ. नायक ने महिला एवं बाल विकास मंत्री श्रीमती अनिला भेंडि़या को यह प्रमाण पत्र सौंपा।
मुख्यमंत्री श्री बघेल और मंत्री श्रीमती भेंडि़या ने आंगनबाड़ी कार्यकर्ता, सहायिकाओं सहित सभी मैदानी अमले को प्रमाण-पत्र मिलने पर बधाई दी है। श्रीमती भेंडि़या ने कहा कि मुख्यमंत्री श्री भूपेश बघेल के मार्गदर्शन में लॉकडॉउन में भी महिला एवं बाल विकास विभाग ने एक्शन मोड में काम किया है। आंगनबाड़ी बंद होने की स्थिति में आंगनबाड़ी कार्यकर्ता और सहायिका बहनों ने घर-घर जाकर सूखा राशन और रेडी-टू-ईट वितरण किया और लोगों को कोरोना संक्रमण के प्रति जागरूक किया। इस दौरान घरों में बच्चों की प्रांरभिक शिक्षा और अभिभावकों को बच्चों की देखरेख के विषय में भी समझाया गया। प्रदेश में कुपोषण मुक्ति की दिशा में जो प्रयास किये जा रहे थे, उसे कोरोना काल में भी थमने नहीं दिया गया इसके लिए सभी बधाई के पात्र हैं।
श्रीमती नायक ने बताया कि राष्ट्रीय महिला आयोग द्वारा नई दिल्ली में आयोजित देश के सभी राज्यों के महिला आयोग के अध्यक्षों के सम्मान समारोह में केन्द्रीय सूचना एवं प्रसारण मंत्री श्री प्रकाश जावड़ेकर ने भी छत्तीसगढ़ राज्य महिला आयोग द्वारा महिलाओं को न्याय और उनके अधिकारों की रक्षा के लिए किए गए कार्यों की प्रसंशा की है। श्री जावड़ेकर ने कहा कि जिस तरह छत्तीसगढ़ में महिलाओं के सम्मान की रक्षा के लिए त्वरित कार्यवाही की जा रही है, वैसा किसी और राज्य में परिलक्षित नहीं हो रहा है। समारोह में राष्ट्रीय महिला आयोग की अध्यक्ष श्रीमती रेखा शर्मा ने भी महिलाओं के मामले में छत्तीसगढ़ सरकार को सजग और संवेदनशील बताया।
डॉ. नायक ने बताया कि मुख्यमंत्री श्री भूपेश बघेल ने छत्तीसगढ़ में राज्य महिला आयोग को बहुत ज्यादा शक्ति प्रदान की है। मुख्यमंत्री के दिशा-निर्देश पर ही पुलिस और प्रशासन से सहयोग लेकर तीव्र गति से महिलाओं को न्याय दिलाने में आयोग तत्परता से काम कर रहा है। छत्तीसगढ़ राज्य ने कोविड-लॉकडाउन के दौरान महिलाओं को न्याय दिलाने के लिए बड़ी संख्या में जनसुनवाई की है। छत्तीसगढ़ महिला आयोग ने अब तक 5 महीनों में 44 जनसुनवाई में 11 सौ प्रकरणों की सुनवाई की है, जिसमें लगभग 400 मामलों का निराकरण किया गया है। छत्तीसगढ़ में महिला आयोग की जनसुनवाई में सभी जिलों के कलेक्टर, पुलिस अधीक्षक का सहयोग मिलता है। महिला आयोग के निर्देशों पर कड़ाई से पालन किया जाता है। छत्तीसगढ़ में महिलाओं के शिकायतों के निराकरण में जिस तरह पुलिस-प्रशासन तत्परता से कार्य कर रही है, वैसा पूरे देश में कहीं नहीं हो रहा है।