Jansunvai : आयोग के सामने आए एम्स से जुड़े मुद्दे, डायरेक्टर ने मांगा समय
रायपुर, 29 मार्च। Jansunvai : राज्य महिला आयोग की जनसुनवाई में आज प्रसिद्ध अस्पताल एम्स के खिलाफ शिकायत पहुंची। जिसे आयोग की अध्यक्ष डॉ. किरणमयी नायक और उनकी टीम ने बड़ी ही समझदारी से सुलझाया। इस दौरान सदस्य शशिकांता राठौर एवं अर्चना उपाध्याय की उपस्थित रही।
विभाग के एचओडी पर लगा उत्पीड़न का आरोप
एम्स की नर्सिंग छात्रा साक्षी दुबे ने अपने कमरे में फांसी लगाकर आत्महत्या कर ली। छात्रा ने सुसाइड नोट में मौत की वजह अवसाद और बाकी चीजों का उसमें जिक्र किया है। आपको बताते चले कि, स्वजनों ने छात्रा साक्षी दुबे के डिपार्टमेंट के एचओडी नरेंद्र कुमार बोधे पर प्रताड़ित करने का आरोप लगाया है। इस मामले में पुलिस ने नरेंद्र कुमार बोधे को नोटिस जारी कर थाने तलब किया और घंटों पूछताछ की।
एम्स के डायरेक्टर रखेंगे अपना पक्ष
एम्स के डायरेक्टर ने बताया कि मृतका साक्षी दुबे के आत्महत्या के मामले में आमानाका पुलिस थाना और एम्स के स्तर पर जांच जारी है। एम्स की जांच रिपोर्ट आयोग कार्यालय में प्रस्तुत करने के साथ आवेदिका को भी इसकी प्रति देने की बात कही है। इस प्रकरण में आवेदिका पक्ष ने जो दस्तावेज लगाए हैं उनमें वहां पढ़ने वाले छात्रों के बीच मृतका के प्रकरण में काफी गम्भीर चर्चा अनावेदक के व्यवहार को लेकर की गई है।
इस बीच आवेदिका आमानाका पुलिस थाना में किये गए कार्यवाही की जानकारी लेकर आयोग को सूचित करने को कहा गया। इसके साथ ही आवश्यकता पड़ने पर आमानाका थाने से सीधे रिपोर्ट मंगायी जा सकेगी। अनावेदक ने विभागीय कार्य का हवाला रखते हुए वकील रखने के लिए आयोग से निवेदन किया, जिस पर आयोग द्वारा बाद में विचार किया जायेगा। इस प्रकरण को आगामी सुनवाई में निराकृत किया जा सकेगा।
विरूद्ध प्रतिवेदन के अनुसार अलग से विचार
इसी तरह एम्स (Jansunvai) के दूसरे प्रकरण में आवेदिका ने अपनी पूरी जानकारी एम्स के डायरेक्टर डॉ नागरकर को अवगत कराया है। इस प्रकरण के अनावेदक सुनवाई में अनुपस्थित है। अनावेदक अभी कार्यरत नही है और उनके द्वारा आवेदिका के साथ जो भी निर्णय लिए गए हैं। वर्तमान में आवेदिका के साथ हुए अन्याय पूर्ण रवैये के लिए उनके सर्विस रिकॉर्ड में जो भी टिप्पणी अनावेदक ने किया है उन सभी दस्तावेजों की जानकारी संक्षिप्त रूप में बनाकर आवेदिका एम्स के डायरेक्टर को 2 दिवस में प्रस्तुत कर देगी।
प्लेसमेंट एजेंसी से पीड़िता को मिला दो माह का वेतन
एक प्रकरण में जल जीवन मिशन के अंतर्गत राज्यस्तरीय प्रबंधन इकाई (spmu) के प्लेसमेंट एजेंसी कॉल मी सर्विसेस ने आज आवेदिका को 64 हजार रुपये की राशि आयोग के समक्ष दिया है। इस प्रकरण पर आवेदिका और अनावेदक गणो को विस्तार से सुना गया। जिसमें यह स्पष्ट है कि दोनों पक्षों की एक एक गलती हुई है और आवेदिका के पास निर्धारित 5 वर्ष का अनुभव नही था। दोनो पक्षों की त्रुटि के आधार पर कोई कड़ा निर्णय लिया जाना सम्भव नही है, इसे देखते हुए आवेदिका को दो माह का वेतन 64 हजार रुपये देने अनावेदक को निर्देशित किया गया।
महिला को भेजा नारी निकेतन
एक अन्य प्रकरण में आवेदिका ने बताया कि उसके पति का दूसरी औरत के साथ अवैध संबंध है। इस संबंध में उसके सास-ससुर दूसरी औरत और उसके पति का साथ दे रहे है। आयोग के समक्ष उपस्थित अनावेदक पति का कहना है कि दूसरी औरत अनावेदिका जबरदस्ती उनके घर में रह रही है और समाज वालों का कहना नहीं मान रही है। अनावेदिका दूसरी औरत के इस तरह के अवैधानिक कृत्य के कारण आयोग द्वारा दूसरी औरत को नारी निकेतन तत्काल भेजा गया।
FIR के डर से स्वीकारा जुर्माना देना
एक अन्य प्रकरण में आवेदिका ने पिछली सुनवाई में अनावेदक को 50 हजार रुपये देना स्वीकार किया था। जो आज की सुनवाई में नही दी है। एफआईआर दर्ज किये जाने की बात सुनकर कल की सुनवाई में 50 हजार रुपये देना स्वीकार किया है। अनावेदक के पैसा वापस करने पर अग्रिम कार्यवाही किया जाएगा। आज जनसुनवाई में 29 प्रकरण में 23 पक्षकार उपस्थित हुए, 3 प्रकरण नस्तीबद्ध किया गया शेष अन्य प्रकरण को आगामी सुनवाई में रखा गया।